Swayam sahayata samuh में rojgar । स्वयं सहायता समूह में रोजगार

Swayam sahayata samuh में rojgar । स्वयं सहायता समूह में रोजगार

  स्वयं सहायता समूह में राष्ट्रीय आजीविका मिशन के तहत स्वयं सहायता समूह की महिलाओं को रोजगार दिया जाएगा। Swayam sahayata samuh की महिलाऐ इस रोजगार को करके महीने का 10000 से 15000 रुपए कमाएंगी।

आइए जानते हैं क्या है यह रोजगार। और कैसे स्वयं सहायता समूह समूह की महिलाएं स्वरोजगार को कर सकती हैं।


Swayam sahayata samuh की महिलाएं कॉलेजों में खोलेंगी कैंटीन।2022

राष्ट्रीय आजीविका मिशन 2022 के तहत स्वयं सहायता समूह की महिलाओं को आर्थिक रूप से सशक्त बनाने के लिए जिला स्तर पर कालेजों में कैंटीन खोलने की योजना बनाई गई है।
स्वयं सहायता समूह की महिलाएं बड़े-बड़े कॉलेजों में कैंटीन खोलकर बच्चों और कालेज के स्टाफ के लिए ताजे खाद्य पदार्थ का निर्माण करेंगे। स्वयं सहायता  समूह के द्वारा खोले गए कॉलेज कैंटीन में समोसा ब्रेड पकोड़ा चना पराठा रोल इत्यादि सामग्री उपलब्ध होगी।
सबसे पहले जिला स्तर पर इस योजना को सबसे पहले लागू किया जाएगा। स्वयं सहायता समूह की महिलाओं के लिए यह योजना काफी कारगर साबित होगी।
जिला स्तर के विद्यालयों में किस कैंटीन योजना के सफल हो जाने के बाद इस योजना को खंड विकास स्तर के विद्यालयों में लागू किया। स्वयं सहायता समूह की महिलाएं विद्यालय में पढ़ने वाले बच्चों के लिए मध्यान्ह अवकाश के दौरान बाहर से मिलने वाले खाद्य पदार्थों जैसे समोसा इत्यादि को विद्यालय की कैंटीन में ही बनाएगी।
इस कैंटीन योजना से स्वयं सहायता समूह की महिलाएं विद्यालयों में खाद्य पदार्थ बेचकर 10,000 से लेकर ₹15000 महीने के आराम से कमा सकते हैं।
इस कैंटीन योजना से स्वयं सहायता समूह की महिलाओं के घर के आर्थिक खर्चा उठाने में मदद मिलेगी।

कैंटीन खोलने के लिए कहां से मिलेगा पैसा।2022

स्वयं सहायता समूह की महिलाओं को कैंटीन खोलने के लिए समूह के खाते से लोन के रूप में पैसे दिए जाएंगे। यह धनराशि 50000 से लेकर 500000 तक हो सकती है। इस धनराशि पर स्वयं सहायता समूह की महिलाओं को न्यूनतम ब्याज देना होगा।

स्वयं सहायता समूह कैंटीन योजना का लाभ कैसे लें।

Uttar Pradesh सहित भारत के प्रत्येक राज्य के जिले में स्वयं सहायता समूह की महिलाओं को आर्थिक रूप से सशक्त बनाने के लिए राज्य और केंद्र सरकार के द्वारा प्रयास जारी हैं।
स्वयं सहायता समूह की महिलाओं को आर्थिक रूप से सशक्त बनाने के लिए जिला अधिकारियों द्वारा जिला स्तर पर एक कारगर प्लान तैयार किया गया। जिसके तहत अब स्वयं सहायता समूह की महिलाएं जिला विश्वविद्यालयों एवं विद्यालयों में कैंटीन खोलेंगे। इस कैंटीन में विद्यालय के बच्चों एवं विद्यालय के स्टाफ के लिए ताजा खाद्य पदार्थ तैयार किए जाएंगे।
इसी योजना को अभी भारत के राज्यों के कुछ जिलों में लागू किया गया है। आप अपने खंड विकास कार्यालय में जाकर राष्ट्रीय आजीविका मिशन के ऑफिस से इस संबंध में संपूर्ण जानकारी ले सकते हैं।
राष्ट्रीय आजीविका मिशन का कार्यालय विकासखंड भवन में होता है। यहां पर जाकर आपको ब्लॉक मिशन मैनेजर BMM से संपर्क करना होगा। यह योजना यदि आपके ब्लॉक स्तर पर उपलब्ध होगी तो वहां से आपको संपूर्ण जानकारी मिल जाएगी।
इसके अलावा आपको बता दें कि पहले इस योजना को शहरी स्तर पर शुरू किया जाएगा बाद में इसको ग्रामीण स्तर पर भी शुरू किया जाएगा।

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